पंछियों को उड़ते देख क्या आपने कभी सोचा है कि पंछी हवा में उड़ते समय किसी पेड़ या अन्य से टकराते क्यों नहीं है| आपको पता है पंछी हवा में उड़ते समय क्यों नहीं टकराते हैं दरअसल पक्षियों को उड़ते वक्त भीड़-भाड़ वाली सड़कों की परेशानी तो नहीं होती, लेकिन उन्हें खुद को किसी पेड़ और अन्य वस्तु से टकराने से बचाने के लिए गति सीमा का ध्यान रखना पड़ता है।
मैसाचुसेट्स इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (एमआईटी) के शोधकर्ता मानते हैं कि उनकी खोज सेना को मानव रहित विमान ड्रोन को बिना दुर्घटनाग्रस्त हुए अधिकतम गति से उड़ाने में मदद कर सकती है।इतना ही नहीं शोधकर्ताओं ने एक गणितीय मॉडल भी तैयार किया है, जो पक्षियों के हवा में उड़ने के ढंग पर आधारित है।
एमआईटी के प्रोफेसर और अध्ययन के लेखक एमिलियो फ्रेजोली ने कहा है कि अगर पक्षियों की उड़ने की गति तुरन्त दिखाई देने वाली वस्तुओं पर आधारित होती तो वह ज्यादा तेजी से नहीं उड़ पाते।
एक रिपोर्ट में कहा गया है कि पक्षी जिस वातावरण में उड़ रहे होते हैं, मौटे तौर पर उसके घनत्व की गणना कर लेते हैं। वे पेड़ों और भवनों के बीच अंतर खोजने की सम्भावना के आधार पर अपनी उड़ने की शीर्ष गति का निर्धारण करते हैं।
इस वक्त कबूतरों पर अपने सिद्धांत का परीक्षण कर रहे फ्रिजोली बताते है, "कोई एक अधिकतम गति तय नहीं की जा सकती है। अधिकतम गति का सम्बंध कुछ मापदंडों से है, जो पेड़ के धनत्व और आकार और पक्षी की उड़ने की निपुणता और आकार पर निर्भर करती है।"
उन्होंने कहा कि पक्षियों के हवा में उड़ने के ढंग के आधार पर बनाए गए गणितीय मॉडल का उपयोग मानव रहित ड्रोन के सुरक्षित उड़ान के लिए अधिकतम गति को बढ़ाने में किया जा सकता है।
मैसाचुसेट्स इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (एमआईटी) के शोधकर्ता मानते हैं कि उनकी खोज सेना को मानव रहित विमान ड्रोन को बिना दुर्घटनाग्रस्त हुए अधिकतम गति से उड़ाने में मदद कर सकती है।इतना ही नहीं शोधकर्ताओं ने एक गणितीय मॉडल भी तैयार किया है, जो पक्षियों के हवा में उड़ने के ढंग पर आधारित है।
एमआईटी के प्रोफेसर और अध्ययन के लेखक एमिलियो फ्रेजोली ने कहा है कि अगर पक्षियों की उड़ने की गति तुरन्त दिखाई देने वाली वस्तुओं पर आधारित होती तो वह ज्यादा तेजी से नहीं उड़ पाते।
एक रिपोर्ट में कहा गया है कि पक्षी जिस वातावरण में उड़ रहे होते हैं, मौटे तौर पर उसके घनत्व की गणना कर लेते हैं। वे पेड़ों और भवनों के बीच अंतर खोजने की सम्भावना के आधार पर अपनी उड़ने की शीर्ष गति का निर्धारण करते हैं।
इस वक्त कबूतरों पर अपने सिद्धांत का परीक्षण कर रहे फ्रिजोली बताते है, "कोई एक अधिकतम गति तय नहीं की जा सकती है। अधिकतम गति का सम्बंध कुछ मापदंडों से है, जो पेड़ के धनत्व और आकार और पक्षी की उड़ने की निपुणता और आकार पर निर्भर करती है।"
उन्होंने कहा कि पक्षियों के हवा में उड़ने के ढंग के आधार पर बनाए गए गणितीय मॉडल का उपयोग मानव रहित ड्रोन के सुरक्षित उड़ान के लिए अधिकतम गति को बढ़ाने में किया जा सकता है।
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